Temple in Himachal: देशभर में कई मंदिर हैं, जहां पर मां दुर्गा के अलग-अलग अवतारों की पूजा होती है। मंदिरों में हजारों की संख्या में श्रद्धालु दर्शन करने के लिए आते हैं। एक ऐसा ही मंदिर हिमाचल प्रदेश में मौजूद है, जहां पर भक्तों की भी भारी भीड़ देखी जा सकती है। ये कोई आम मंदिर नहीं है। मंदिर के बारे में जानकर आप भी हैरान हो जाएंगे। मंदिर में आपको पति-पत्नी एक साथ पूजा करते हुए नजर नहीं आएंगे। हिमाचल के श्राई कोटि मंदिर में जोड़े एक साथ दर्शन नहीं कर सकते हैं। ऐसा कहा जाता है कि अगर एक साथ दर्शन किए तो दोनों में जल्द ही तलाक हो जाएगा।
- हिमाचल के मंदिरों की कई रोचक कहानियां है
- हिमाचल का श्राई कोटि मंदिर में है रोचक रहस्य
- इस मंदिर में पति-पत्नी एक साथ नहीं कर सकते हैं दर्शन
- ऐसा करने पर हो सकता है तलाक
मंदिर में एक साथ नहीं जा सकते
श्राई कोटि मंदिर में जाने वाले जोड़े अलग-अलग जाकर मूर्ती के दर्शन करते हैं। मान्यता ये है कि अगर कोई कपल गलती से भी एक साथ मंदिर के अंदर प्रवेश कर देता है तो उन्हें इसके लिए सजा दी जाती है। वैसे इस बात में सच्चाई को लेकर कह पाना थोड़ा मुश्किल है। इसके बारे में लोग सुनकर चौक सा जाते हैं। आप इस मंदिर को आस्था भी कह सकते हैं और कुछ लोग इसे अंधविश्वास का भी नाम देते हैं।
जानिए क्यों नहीं कर सकते हैं एक साथ दर्शन
ऐसा माना जाता है कि भगवान शिव अपने दोनों पुत्रों गणेश और कार्तिकेय को ब्रह्मांड का चक्कर लगाने के लिए कहा था। कार्तिकेय तो अपने वाहन पर बैठकर ब्रह्मांड का चक्कर लगाने के लिए निकल गए लेकिन गणेश ने माता-पिता को चारों ओर चक्कर लगाना शुरू कर दिया और खुद को विजेता घोषित कर लिया। उनके इस तरह से परिक्रमा करने पर गणेश ने जवाब दिया कि माता-पिता के चरणों में ही ब्रह्मांड है। इसी वजह से इनकी परिक्रमा की।
कार्तिकेय ने शादी न करने का लिया था फैसला
कार्तिकेय के ब्रह्मांड का चक्कर लगाने के बाद वापस आने पर गणेश की शादी हो चुकी थी। ये देखने के बाद कार्तिकेय गुस्सा हो गए और कभी शादी न करने का निर्णय लिया। उनके विवाह न करने से माता पार्वती काफी नराज थी। उन्होंने कहा जो भी पति-पत्नी उनके दर्शन करने के लिए एक साथ आएंगे वे कभी खुश नहीं रहेंगे। जिस वजह से आज भी यहां पति-पत्नी एक साथ पूजा नहीं करते हैं।
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